Thursday, August 27, 2020

यादें

वक़्त तो बीत जाता है |

लेकिन यादें रह जाती है |


कुछ यादें खुशियाँ खींच लाती है |

कुछ यादें जो कील चुभोती है |


वर्षों पुरानी कुछ बातें,

मानो कल की ही बात हो |


और कल की कुछ बातें, 

मानो वर्षों बीत गया हो |


कभी बेरंग सा जीवन रंगीन कर दे |

कभी इंद्रधनुष को भी बेरंग कर दे |


हर पल को समेट लाती है यादें |

जीवन मे कुछ आस भर जाती है यादें |


✍️आशीष कुमार सत्यार्थी 

Monday, August 17, 2020

 एक बात मैने सीखा है,

रिश्तों के किताब से |

लोग आपसे प्यार करते हैं, 

जरुरत के हिसाब से |

✍️ आशीष कुमार सत्यार्थी 

Saturday, August 8, 2020

 हर चेहरा नकाबपोश है यहाँ 

सत्य अब ख़ामोश है यहाँ 

निभा रहे हैं कई किरदार सब, 

जज़्बात फ़रामोश है यहाँ, 

            ✍️ आशीष कुमार सत्यार्थी 

 बनाकर हर परिंदे को उड़ने के काबिल, घोंसला अक्सर विरान रहा जाता है | है नियति का खेल सब, विधि का है मेल सब | जीवन का यह जो धारा है, उड़े बिना ...